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Memories of Another day

Memories of Another day
While my Parents Pulin babu and Basanti devi were living

Thursday, February 21, 2013

तो चलो मुंबई बामसेफ के एकीकरण के कार्यक्रम में इकट्ठा होकर संघठित तरीके से मूलनिवासियों की आजादी के लिए संघर्ष करने के लिए ! बामसेफ के मूलनिवासी बहुजन समाज के समस्त इच्छुक लोगों को खुला निमंत्रण है !


क्या आप मूलनिवासी बहुजन समाज के अन्दर संस्थागत चरित्र का विकास करना चाहते हैं ? क्या आप मूलनिवासी बहुजन समाज की व्यक्ति-निरपेक्ष महान एकीकृत बामसेफ संस्था का निर्माण करना चाहते हैं ? क्या आप व्यक्ति-आधारित संघठनों की बदोलत मूलनिवासी बहुजन समाज और फुले-अम्बेडकरी विचारधारा को हुई अत्यधिक क्षति का संज्ञान लेकर, सफलता हासिल करने के लिए तथागत गौतम बुद्धा का संस्थागत रास्ता अख्तियार करना चाहते हैं ? क्या आप व्यक्ति-आधारित आंदोलनों के कारण हमारे मूलनिवासी समाज की व्यर्थ में ही ख़त्म हो गयी तीन पीढीयों के त्याग से सबक लेना चाहते हैं ? यदि 'हाँ' तो चलो मुंबई बामसेफ के एकीकरण के कार्यक्रम में इकट्ठा होकर संघठित तरीके से मूलनिवासियों की आजादी के लिए संघर्ष करने के लिए ! बामसेफ के मूलनिवासी बहुजन समाज के समस्त इच्छुक लोगों को खुला निमंत्रण है ! - जय मूलनिवासी !

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