शराब के कुटीर उद्योग के विरोधी बारासात के सौरभ की हत्या के मामले में आठ को फांसी
बंगाल में चुनावी हिंसा के मध्य थोक फांसी का सिलसिला सत्ता वर्ग के लिए कयामत ही समझिये।
एक्सकैलिबर स्टीवेंस विश्वास
हस्तक्षेप
বামনগাছির সৌরভ চৌধুরী হত্যা মামলায় ৮ জনকে মৃত্যুদণ্ড দিল বারাসত আদালত।
फिर बम इंडस्ट्री में धमाका हो गया।कामदनि बलात्कार कांड और नदिया हत्याकांड के बाद बामून गाछी सौरभ हत्याकांड में आठ लोगों को फांसी की सजा सुनायी गयी है।वोट बाजार में खलबली है कि ऐन मतदान से पहले इतने भारी पैमाने पर बाहुबलियों की वैदिकी बलि का सत्ता समीकरण पर क्या क्या असर होना है।क्योंकि इन तीनों मामलों में न्याय प्रक्रिया में सत्ता का हस्तक्षेप विवाद बना हुआ था और पीड़ितों को लगातार मामला रफा दफा करने के लिए डराया धमकाया जा रहा था।
बारासात अदालत ने बामूनगाछी में अवैध शराब के कारोबार का विरोध करने वाले नौजवान सौरभ चौधरी की हत्या के मामले में आठ लोगों को पांसी की सजी सुना दी है।इसके अलावा एक को उम्र कैद की सजा हुई है और हत्यारों को पनाह देने के आरोप में तीन लोगों को बामशक्कत तीन तीन साल की कैद की सजा सुनायी गयी हैं।कुल ऐसे 12 बाहुबलियों को अदालत ने दोषी ठहराकर सजा सुना दी है,जिनकी अहम भूमिका उत्तर 24 परगना के मतदान में होनी थी क्योंकि सत्ता को समर्तन की कमीमत पर उनका यह सहकारिता का कारोबार वैध और जायज तरीके से बेरोकटोक चलता है।
अपहरण और हत्या के मामले में श्यामल कर्मकार समेत नौ लोग दोषी माने गये। इनके खिलाफ धारा 302 के तहत सजा सुनायी गयी।
गौरतलब है कमादुनि मशहूर बारासात इलाके के गैरकानूनी कुटीर उद्योग शराब के धंधे और उसके साथ सट्टा रके बेलगाम कारोबार के खिलाफ प्रतिरोध करने के अराध में 4 जुलाी 2014 को मां माटी मानुष सरकार के सत्ताकाल में घर से उठाकर सौरभ को ले गये अपराधी।अगले दिन बारासात और दत्तपुकुर रेलवे स्टेशनों के मध्य उसका क्षत विक्षत शव मिला।
बहुत बुरी खबर है कुटीर उद्योंग में बदल सत्ता संरक्षण के शराब सिंडिकेट के लिए,क्योंकि उनके आठ लोगों को फांसी हो गयी है।चुनावी हिंसा के मध्य थोक फांसी का सिलसिला सत्तावर्ग के लिए कयामत ही समझिये।गौरतलब है कि फिलवक्त सरहदी इलाकों में कानून व्यवस्था बरसों से लापता है और वहां तस्करों, माफिया, प्रोमोटरों ,बिल्डरों का राजकाज है।अदालती फैसलों से इस नायाब उद्योग और कुटीर उद्योग को भारी झटका एक के बाद एक लग रहा है।
वैसे ही मूसल पर्व जारी है।घमासान मचा हुआ है बंगाल के कुरुक्षेत्र में।आसमान से आग के गोले बरस रहे हैं और जमीन तोड़कर धदकने लगी है भूमिगत आग।महाभूकंप की चेतावनी जारी हो चुकी है और मौसम लू का है तो फिजां खून की होली से रंगारंग है।आम जनता के लिए अमन चैन लापता है और दसों दिशाओं में कयामत है।तो सत्ता का चीरहरण जारी है और केशव कल्कि पधार रहे हैं तो लज्जा ढकने के बजाय उगड़ रही हैं क्योंक हर बार चीर पकड़कर खींच रहे हैं सत्ता सखा द्वारका नरेश।
प्रोमोटर बिल्डर माफिया सिंडिकेट के अलावा बलात्कारियों का राजकाज है कामदुनि से लेकर काकद्वीप तक।ससिर्फ अच्छी बात यह है कि धर्मोन्मादी ध्रूवीकरण की हर कोशिश बंगाल की बौद्धमय विरासत की सरजमीं पर नाकाम है और सत्ता वर्चस्व की ऩफरतों का हवा पानी में असर नहीं है।हिंदुत्व का एजंडा सिरे से फेल है।
गौरतलब है कि पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव के तीसरे और चौथे चरण में 107 प्रत्याशी करोड़पति हैं। 128 प्रत्याशी ऐसे हैं जिनके खिलाफ आपराधिक मामले दर्ज हैं। उम्मीदवारों के शपथ-पत्र से यह खुलासा हुआ है कि तीसरे चरण के 418 उम्मीदवारों में से 61 और चौथे चरण के 345 में से 46 करोड़पति या कई करोड़ के मालिक हैं।
'द वेस्ट बंगाल इलेक्शन वाच' ने सोमवार को कहा कि तीसरे चरण के 80 प्रत्याशी और चौथे चरण के 48 प्रत्याशियों ने अपने खिलाफ आपराधिक मामला दर्ज होने की घोषणा की है। इनमें कई के खिलाफ हत्या और बलात्कार जैसे गंभीर मामले भी लंबित हैं।
इसी बारासात में ट्रेन से दफ्तर से लौट रही बहन से छेड़खानी करने का विरोद करने पर एक भाई की हत्या कर दी गयी रेलवे स्टेशन के पास,जहां तमाम अफसरान की मौजूदगी में शाम के बाद अपराधियों का राजकाज चलता है ।
हाल में पिछले मार्च में बारासात इलाके में एक नाबालिग लड़की राष्ट्रीय स्तर की वॉलीबॉल खिलाड़ी संगीता आईचकी गला रेत कर नृशंस हत्या हो गयी। पीड़िता 30 अन्य लड़कियों के साथ वॉलीबॉल खेल रही थी, तभी एक युवक ने कथित रूप से चापड़ (छुरे जैसा धारदार हथियार) से उसकी गरदन पर हमला कर दिया।
बैरकपुर पुलिस आयुक्त के कार्यालय के डीसीडीडी अजय ठाकुर ने बताया कि 18 वर्षीय सुब्रत सिन्हा उर्फ राजा ने जगददल पुलिस थाना में आत्मसमर्पण कर दिया।यह घटना उस वक्त घटी, जब संगीता बारासात में एक ट्रेन कैंप में हिस्सा ले रही थी।
सुब्रत ने दरांती से उस पर कई बार वार किए। उस वक्त घटनास्थल पर तीन कोच और 25 वॉलीबॉल प्लेयर मौजूद थे। कोच ने लड़की को बचाने की कोशिश की, लेकिन सुब्रत ने उन पर भी वार कर दिया। इसके बाद संगीता को हॉस्पिटल ले जाया गया, लेकिन उसकी मौत हो चुकी थी।
कोच स्वपन दास के मुताबिक, 'मैंने देखा कि राजा, संगीता की ओर चाकू लेकर दौड़ रहा है। मैंने राजा को पकड़ने की कोशिश की। अगर संगीता मेरे पीछे छिप जाती तो शायद राजा पहले मुझ पर हमला करता। लेकिन उसने भागने की कोशिश की और राजा ने उसे बेरहमी से मार दिया।'.
गौरतलब है कि केंद्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने कानून-व्यवस्था के मुद्दों और राजनीतिक हिंसा को लेकर ममता बनर्जी सरकार पर तीखा हमला बोला है। उन्होंने कहा कि तृणमूल कांग्रेस के शासन में पश्चिम बंगाल में कोई भी सुरक्षित नहीं है।
गौरतलब है कि केंद्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह के मुताबिक कभी देश के औद्योगिक राजधानी कहे जानेवाले बंगाल में उद्योग व वाणिज्य धराशायी होता जा रहा है। पिछले पांच वर्षों में यहां फैक्टरियां तो लगी हैं, लेकिन वह बम की हैं। जिसका काम लोगों को रोजगार देना नहीं, बल्कि उनकी जान लेना है।
गृहमंत्री राजनाथ सिंह पश्चिम बंगाल के करीमपुरा में चुनावी रैली के दौरान आक्रोश में दिखे. राजनाथ ने कहा कि 'जिस मां के लाल ने यहां बम बनाने का काम किया, मैं उसकी खाट खड़ी कर दूंगा'। राजनाथ ने बेहद आक्रामक होते हुए कहा कि बंगाल में कानून का तमाशा बना दिया गया है। यहां कोई इंडस्ट्री नहीं चल रही है, केवल यहां बम इंडस्ट्री चल रही है।
केंद्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह उत्तर 24 परगना जिले के भाटपाड़ा में भाजपा उम्मीदवार पूर्व आइपीएस अधिकारी डॉ रुमेश कुमार हांडा के समर्थन में चुनावी सभा में बोल रहे थे। उन्होंने कहा कि भाटपाड़ा क्षेत्र में आठ जूट मिले हैं, लेकिन सभी जूट मिलों की हालत खराब है। जूट मिलें बंद हो रही हैं और बम की फैक्टरियां तैयार की जा रही है।
गौरतलब है कि इससे पहले इस बारासात के नजदीक बहुचर्चित कामदुनी सामूहिक बलात्कार और हत्या के मामले में अदालत ने तीन अभियुक्तों को फांसी की सज़ा सुनाई है।इस मामले के तीन अन्य अभियुक्तों को उम्र क़ैद की सज़ा दी गई है।मुख्यमंत्री ने इस मामले में आंदोलन करने वाली महिलाओं को माओवादी घोषित कर दिया था।क्योंकि कामदुनी के लोगों ने न्याय व दोषियों को कड़ी सज़ा दिए जाने की मांग में विरोध प्रदर्शन शुरू किया था। इसके लिए कामदुनी प्रतिवादी मंच नामक एक संगठन भी बनाया गया था।
उत्तरी 24-परगना ज़िले के बारासात में 7 जून 2013 को कॉलेज से घर लौट रही 21 साल की छात्रा का नौ लोगों ने अपहरण कर लिया था। उसे एक सुनसान जगह पर ले जाकर उसके साथ सामूहिक बलात्कार किया गया और बाद में उसकी हत्या कर दी थी।
अगले दिन एक खेत से छात्रा का शव बरामद किया गया था।
गौरतलब है कि दूसरे दौर के मतदान में नदिया में मतदान है और उसी नदिया में २०१४ में पश्चिम बंगाल के नदिया जिले में हुई एक सनसनीखेज हत्या के मामले में अदालत ने हाल में तृणमूल नेता सहित ११ दोषियों को फांसी की सजा सुनाई हैं।तृणमूल नेता लंकेश्वर घोष सहित ११ अन्य आरोपियों को कृष्णानगर अदालत ने मंगलबार को दोषी करार देते हुए आज सजा का एलान किया।
२०१४ के २३ नबंबर को तृणमूल नेता के रूप से जाने जाने वाले लंकेश्वर और उसके साथियो ने नदिया जिले के घुघुरागाची में एक बिबादित जमीन को जबरदस्ती हड़पने के कौशिश के दौरान प्रतिरोध कर रहे अपर्णा बाग़ नाम के एक महिला की गोली मरकर हत्या कर दी थी.
लंकेश्वर तृणमूल के कृष्णगंज ब्लॉक प्रेजिडेंट लक्ष्मण घोष चौधुरी के का करीबी मन जाता हैं और ज़मीन सिंडिकेट से लेकर स्मगलिंग तक उसकी कारोबार बताया जाता है।
বামনগাছির প্রতিবাদী ছাত্র সৌরভ চৌধুরী খুনের ঘটনায় কী সাজা ঘোষণা করল বারাসত আদালত? পড়ুন নিচের লিঙ্কে ক্লিক করে।
বামনগাছির প্রতিবাদী ছাত্র সৌরভ চৌধুরী খুনের ঘটনায় ৮জনকে ফাঁসির সাজা শোনালো বারাসত আদালত। ১জনকে যাবজ্জীবন কারাদণ্ড দেওয়া হয়েছে। অপরাধীদের আশ্রয় দেওয়ার জন্য বাকি ৩জনের ৫ বছরের সশ্রম কারাদণ্ডের নির্দেশ দিয়েছে আদালত। গত সপ্তাহেই দোষী সাব্যস্ত হন অভিযুক্ত ১২জন।
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